Swiss Bank ने 04 देशों के साथ करीब 36 लाख खातों की जानकारी साझा की
Swiss Bank ने भारत के साथ ऐनुअल ऑटोमैटिक एक्सचेंज ऑफ इन्फॉर्मेशन (AEOI) के तहत खातों की जानकारी पांचवीं बार साझा कर दी है. बताया जा रहा है कि स्विस बैंक ने 104 देशों के साथ करीब 36 लाख खातों की जानकारी साझा की है. इसमें कई भारतीयों के खातों की जानकारी भी शामिल है.
इससे पहले 11 अक्टूबर 2022 को बैंक के द्वारा खाता धारकों की जानकारी का चौथा सेट भारत के साथ किया गया था. अब अगला सेट बैंक के द्वारा सितंबर 2024 में शेयर किया जाएगा. भारतीय अधिकारियों के साथ साझा किये गये नये विवरण सैकड़ों वित्तीय खातों से संबंधित हैं, जिनमें कुछ लोगों, कॉरपोरेट और न्यास (ट्रस्ट) से जुड़े खातों की जानकारी है. समझा जा रहा है कि इस खातों की जानकारी मिलने के बाद सरकार के द्वारा बड़ी कार्रवाई का जा सकती है.
साझा किए गए विवरण में पहचान, खाता और वित्तीय जानकारी शामिल है. इसमें नाम, पता, निवास का देश और कर पहचान संख्या के साथ ही रिपोर्टिंग वाले वित्तीय संस्थान, खाता शेष तथा पूंजीगत आय से संबंधित जानकारी शामिल है. अधिकारियों ने सूचना के आदान-प्रदान की गोपनीयता से जुड़े नियमों और आगे की जांच पर इसके प्रतिकूल प्रभाव का हवाला देते हुए आदान-प्रदान के जरिये मिली जानकारी या किसी अन्य विवरण में शामिल राशि का खुलासा नहीं किया है.
उन्होंने कहा कि इस ब्योरे का इस्तेमाल कर चोरी, धनशोधन और आंतकवाद के वित्तपोषण सहित अन्य गलत कृत्यों की जांच के लिए किया जाएगा. अधिकारियों ने बताया कि यह आदान-प्रदान पिछले महीने हुआ. स्विट्जरलैंड द्वारा अब सितंबर, 2024 में फिर से ऐसी जानकारियां साझा की जाएंगी. अधिकारी इस जानकारी के आधार पर यह सत्यापित कर पाएंगे कि क्या करदाताओं ने अपने आयकर रिटर्न में अपने वित्तीय खातों की सही घोषणा की है.
स्विट्जरलैंड की राजधानी बर्न में संघीय कर प्रशासन (एफटीए) की ओर से सोमवार को जारी एक बयान के अनुसार, सूचना के स्वत: आदान-प्रदान (एईओआई) पर वैश्विक मानक के ढांचे के भीतर 104 देशों के साथ Swiss Bank वित्तीय खातों का ब्योरा साझा किया गया है. इस वर्ष कजाकिस्तान, मालदीव और ओमान को 101 देशों की पिछली सूची में जोड़ा गया. वित्तीय खातों की संख्या में करीब दो लाख की वृद्धि हुई है.
सूचनाओं का आदान-प्रदान 78 देशों के साथ पारस्परिक था. 25 देशों के मामले में स्विट्ज़रलैंड ने जानकारी प्राप्त की, लेकिन खुद कोई जानकारी उपलब्ध नहीं कराई, क्योंकि ये (13) देश अबतक गोपनीयता तथा डेटा सुरक्षा पर अंतरराष्ट्रीय आवश्यकताओं को पूरा नहीं करते हैं या उन देशों (12) ने डेटा प्राप्त नहीं करने का विकल्प चुना है. इस वर्ष रूस के साथ भी किसी जानकारी का आदान-प्रदान नहीं किया गया.
बैंकों, न्यास और बीमाकर्ताओं सहित करीब 9,000 रिपोर्टिंग वित्तीय संस्थान अभी एफटीए के साथ पंजीकृत हैं. इन संस्थानों ने ब्योरा एकत्र किया और इसे एफटीए को हस्तांतरित कर दिया. भारत को सितंबर 2019 में एईओएल के तहत स्विट्जरलैंड से पहली बार खातों का ब्योरा मिला था. वह उस वर्ष ऐसी जानकारी प्राप्त करने वाले 75 देशों में से एक था. स्विट्जरलैंड ने पहली बार सितंबर, 2018 के अंत में ऐसा आदान-प्रदान किया था. इसमें 36 देश शामिल थे, लेकिन भारत उस समय सूची में शामिल नहीं था.
लोग स्विस बैंक में खाता रखते हैं क्योंकि वहां कुछ विशेष गुणस्तर के लाभ हो सकते हैं जो उनकी वित्तीय योजनाओं और व्यक्तिगत वित्त स्थिति को ध्यान में रखते हैं. यहां कुछ कारण दिए जा रहे हैं जिनके लिए लोग स्विस बैंक में खाता खोल सकते हैं:
- वित्तीय गोपनीयता: स्विस बैंकों की वित्तीय गोपनीयता और अधिकारिकता का स्तर अन्य बहुत से बैंकों से अधिक हो सकता है. इससे व्यक्तिगत वित्त और निवेशों की जानकारी को सुरक्षित रखने में मदद मिलती है.
- विविध निवेश विकल्प: स्विस बैंकों में विभिन्न निवेश विकल्प उपलब्ध हो सकते हैं जैसे कि शेयर बाजार, उद्यमिता, वाणिज्यिक एवं निविवेश बैंकिंग आदि.
- अनुंगतियां और आवश्यकताएं: व्यक्तिगत आवश्यकताओं और वित्तीय लक्ष्यों को पूरा करने के लिए स्विस बैंकों में विभिन्न तरह की अनुंगतियाँ हो सकती हैं.
- अंतरराष्ट्रीय व्यापार: व्यक्तिगत या व्यापारिक लिए, अंतरराष्ट्रीय व्यापार के लिए स्विस बैंकों का विशेष रूप से महत्वपूर्ण स्थान है.
- वित्तीय सलाह और सेवाएँ: स्विस बैंकों में विशेषज्ञ वित्तीय सलाह और सेवाएँ उपलब्ध हो सकती हैं जो व्यक्तिगत या व्यापारिक वित्त योजनाओं को विकसित करने में मदद करती हैं.
- निश्चित वित्तीय योजना: कुछ लोग वित्तीय स्थिति को विश्वसनीय बैंक में अपनी निवेश योजनाओं को पूरा करने के लिए स्थापित करने के लिए एक स्थिर वित्तीय स्थिति चाहते हैं और स्विस बैंक इस में मदद कर सकता है.