PM Modi की लक्षद्वीप दौरे के बाद Maldives को Problem, मंत्री अब्दुल्ला महजुम माजिद ने सोशल मीडिया पर पोस्ट लिखा
PM Modi की हालिया लक्षद्वीप यात्रा के बाद मालदीव के एक मंत्री की सोशल मीडिया पोस्ट ने विवाद खड़ा कर दिया है. बता दें कि पीएम मोदी पिछले हफ्ते स्नॉर्कलिंग गए और अरब सागर में द्वीपों के अपने रोमांचक अनुभव को साझा किया.
यह सोचते हुए कि PM मोदी की यात्रा का उद्देश्य भारतीय द्वीपों को बढ़ावा देना है, मंत्री अब्दुल्ला महजुम माजिद का दावा है कि भारत लक्षद्वीप को एक अन्य पर्यटन स्थल के रूप में प्रचारित करके मालदीव से ध्यान हटा रहा है. माजिद ने आगे कहा कि समुद्र तट पर्यटन में मालदीव के साथ प्रतिस्पर्धा करने में भारत को महत्वपूर्ण चुनौतियों का सामना करना पड़ता है. यह विवाद पिछले साल नवंबर में राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू के सत्ता में आने के बाद दोनों देशों के बीच तनावपूर्ण संबंधों के बीच आया है.
गौरतलब है कि प्रोग्रेसिव अलायंस से मुइज्जू – प्रोग्रेसिव पार्टी ऑफ मालदीव (पीपीएम) और पीपुल्स नेशनल कांग्रेस (PNC) का गठबंधन, चीन समर्थक माना जाता है. उनके प्रतिद्वंद्वी पूर्व राष्ट्रपति इब्राहिम मोहम्मद सोलिह के भारत के साथ अच्छे संबंध थे और सोलिह के शासन में दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय संबंध आगे बढ़े. मुइज्जू मालदीव के पूर्व राष्ट्रपति अब्दुल्ला यामीन के करीबी सहयोगी हैं, जो अपने चीन समर्थक रुख के लिए जाने जाते हैं.
मालदीव के मंत्री अब्दुल्ला मोहजुम माजिद ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट शेयर किया, जिसमें उन्होंने लिखा ‘मालदीव के पर्यटन को निशाना बनाने के लिए मैं भारत के पर्यटन को शुभकामनाएं देता हूं, लेकिन भारत को हमारे बीच पर्यटन से कड़ी टक्कर मिलेगी. हमारा रिजॉर्ट इंफ्रास्ट्रक्चर ही इनके पूरे इंफ्रास्ट्रक्चर से ज्यादा है.’ इस पोस्ट में पीएम मोदी को भी टैग किया गया है.
The move is great. However, the idea of competing with us is delusional. How can they provide the service we offer? How can they be so clean? The permanent smell in the rooms will be the biggest downfall. 🤷🏻♂️ https://t.co/AzWMkcxdcf
— Zahid Rameez (@xahidcreator) January 5, 2024
प्रधानमंत्री PM Modi कोच्चि-लक्षद्वीप द्वीपसमूह सबमरीन ऑप्टिकल फाइबर कनेक्शन का उद्घाटन करने और प्राथमिक स्वास्थ्य सुविधा और पांच मॉडल आंगनवाड़ी केंद्रों के नवीनीकरण की आधारशिला रखने के लिए जनवरी के पहले सप्ताह में लक्षद्वीप में थे.