मुजफ्फरनगरः प्रियंका का हमला, कहा-सरकार ने किया बॉर्डर पर बेटों को भेजने वाले किसानों का अपमान
मुजफ्फरनगर। कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव व उत्तर प्रदेश प्रभारी प्रियंका गांधी ने बघरा में एक जनसभा को सम्बोधित करते हुए कहा कि मैं कहना चाहती हूं कि यहां आना मेरा कर्तव्य है ओर मेरा धर्म है और मैं किसी पर अहसान नहीं कर रही हूं। हर नेता को यह अहसास होना चाहिए कि सबसे बड़ा अहसान उस पर जनता करती है।
आप मेरी बातो को सुनने के लिए आये है इसलिए बहुत बहुत धन्यवाद। देश की जो स्थिति है वो शायद मेरे से ज्यादा आप सब जानते है। एक ऐसा समय आया है कि 90 दिनों से लाखों किसान इस देश की राजधानी दिल्ली के बाहर बैठे हुए है, संघर्ष कर रहे है आंदोलन कर रहे है 215 किसान शहीद हुए, बिजली काटी गयी, पानी रोका गया उन्हे मारा गया और पीटा गया वे शांति के साथ बैठे थे।
देश की राजधानी की सीमा को इस तरह से बनाया गया जैसे देश की सीमा हो और तमाम पुलिस फोर्स लगायी गयी किसानों को प्रताडित किया गया। किसान को अपमानित किया गया और उसे जलील किया गया उसे देशद्रोही कहा और आतंकवादी कहा। प्रधानमंत्री जी ने उसका मजाक उडाया और परजीवी व आंदोलन जीवि कहा।
इंसान की तरह देश का भी हृदय होता है उस हृदय के धडकने से देश जीवित होता है प्रियंका गांधी ने कहा कि मेरा मानना है कि हमारे देश का हृदय उसका दिल किसान है। जो जमीन से जुडा है।
जमीन को सींचता है उसे उपजाऊ बनाता है। इस देश का अन्नदाता देश को जीवित करता है। लेकिन आज जब चौ. टिकैत जी के आंखों में आंसू आते है तो हमारे प्रधानमंत्री जी के होठों पर मुस्कुराहट आती है उन्हे मजाक सूझता है। आज किसान से लूट हो रही है और पीएम के दो पूंजीपति मित्रो को छूट दी गयी है।
प्रधानमंत्री ने हर चुनाव में यह वादा किया था कि गन्ने का भुगतान आपको दिया जायेगा प्रियंका गाध्ां ने जनता से सवाल किया कि क्या गन्ने का भुगतान आपको मिला।
उन्होंने कहा कि किसान की आमदनी दुगनी होगी लेकिन नहीं हुई। आपको मालूम है कि पूरे देशभर में गन्ने का भुगतान 15 हजार करोड रूपये है और आज मैं आपके बताती हूं कि शायद आपके नहीं मालूम होगा कि प्रधानमंत्री जी ने अपने लिए दुनिया में भ्रमण करने के लिए दो हवाईजहाज खरीदे और उनकी कीमत 16 हजार करोड रूपये है।