Kisan महापंचायतः अफसरों के सभी दावे हुए फेल, भीड़ के आगे बेबस नजर आए पुलिस वाले
मुजफ्फरनगर। Kisan महापंचायतःशहर के जीआईसी ग्राउंड में संयुक्त किसान मोर्चा की महापंचायत में रविवार सुबह से ही भारी भीड़ पहुंचने से व्यवस्थाएं बिगड़ गईं। प्रशासन की ओर से जो भी व्यवस्थाएं लागू की गईं, वे सभी दस बजते ही चरमरा गईं। किसानों के लगातार उमड़ते सैलाब के आगे पुलिस-प्रशासन बेबस खड़ा नजर आया।
वहीं किसान जहां से देखो वहीं से निकलते नजर आए। कृषि कानूनों के विरोध में शहर के जीआईसी मैदान में हो रही महापंचायत में शामिल होने के लिए सुबह से ही शहर में किसानों के वाहन पहुंचने शुरू हो गए थे। दिन निकलते ही पूरा शहर हरे-सफेद व पीले रंग के झंडों से पटना शुरू हो गया।
सुबह दस बजते-बजते शहर में लागू की गई यातायात की सभी व्यवस्थाएं पूरी तरह ध्वस्त हो गईं और हर ओर सड़कों पर केवल किसानों के ही वाहन दौड़ते नजर आए। वहीं किसानों के सैलाब में उनके वाहनों के दबाव के चलते शहर में लागू की गई यातायात व्यवस्था भी ध्वस्त हो गई और जहां से राह मिली, किसानों के वाहन उसी ओर दौड़ते चले गए।
#watch जिला जज कैम्पस का मदन स्वीट्स की साइड के गेट का ताला तोड़ते हुए किसान पंचायत के लोग #FarmersProtest pic.twitter.com/ExYBFQZd0g
— News & Features Network (@mzn_news) September 5, 2021
शहर के ईदगाह तिराहे से निर्धारित मार्ग खालापार की ओर से निकाले जाने वाले वाहन शहर के हनुमान चौक, भगत सिंह रोड, शिवचौक और मीनाक्षी चौक होते हुए किसान महापंचायत में पहुंचे। इसके चलते शहर के हर मार्ग पर किसानों के वाहनों से जाम लग गया। वहीं, शहर के जानसठ रोड से अलमासपुर होते हुए किसानों की भारी भीड़ पैदल ही जीआईसी ग्राउंड पर पहुंची। यहां किसानों के वाहन नवीन मंडी स्थल में पार्क कराए गए थे, लेकिन भारी भीड़ के चलते यह जगह भी कम पड़ी।
इसके अलावा शहर में सभी पार्किंग स्थल में भी वाहन निर्धारित संख्या से अधिक पार्क होने के कारण 11 बजे के बाद शहर में पहुंचने वाले किसानों को अपने वाहन सड़क किनारे खड़े करने को मजबूर होना पड़ा।
नहीं खुले बाजार, ठेले-रेहड़ी व ई-रिक्शाएं भी नदारद
संयुक्त किसान मोर्चा की महापंचायत के चलते रविवार सुबह से ही शहर में ठेली-रेहड़ी वाले व फुटकर विक्रेताओं के साथ ही ई-रिक्शा वाले भी नदारद रहें। शहर के सभी बाजार पूरी तरह से बंद रहे। जहां आम लोगों की भीड़ खरीदारी के लिए जुटती थी, वहां रविवार को केवल किसान ही किसान नजर आए।
भीड़ का आलम यह रहा कि पंडाल में जगह न मिलने के कारण किसानों को शहर के महावीर चौक से सटे हुए चौधरी चरण सिंह मार्केट, स्वरूप प्लाजा समेत कई अन्य मार्केट में भी फर्श पर बैठकर लाउडस्पीकर के माध्यम से भाषण सुनने पड़े। वहीं, रातभर से शहर में मौजूद रहे किसान भी बड़ी संख्या में इन मार्केट के गलियारों में सोते नजर आए।