तिब्बत सरकार ने बौद्ध धर्म के 11वें पंचेन लामा की जानकारी चीन से मांगी
तिब्बत सरकार ने बौद्ध धर्म के 11वें पंचेन लामा की जानकारी चीन से मांगी है।वह 1995 में जब छह साल के थे तभी से लापता चल रहे हैं और उस घटना को अब 25 साल पूरे हो चुके हैं। उत्तरी भारत में तिब्बत की संसद है जिसे काशंग कहा जाता है।
संसद ने कहा कि 11वें पंचेन लामा को 1995 में उनके परिवार के साथ अगवा कर लिया गया था और वह अपने पद के एकमात्र वैध हकदार हैं।
चीन तिब्बत को अपना क्षेत्र बताता रहा है और उसने एक अन्य लड़के ग्याल्तसेन नोरबू को इस पद पर नामित कर दिया था।
ऐसा माना जाता है कि वह चीन के मुख्य भूभाग में चीनी सरकार की कड़ी निगरानी में रहता है।
The members of India Core Group for Tibetan urged the Government of India and the leaders of the world to press upon China to release the 11th Panchen Lama and all other political prisoners in Tibet. https://t.co/qCt8zJj3dU
— Tibet.net (@NetTibet) May 18, 2020
काशंग ने रविवार को जारी बयान में कहा, पंचेन लामा का अपहरण, जबरन उनके धार्मिक पहचान से इनकार करना और मठ में सेवा देने के उनके अधिकार को रोकना न केवल धार्मिक स्वतंत्रता का बल्कि मानवाधिकार का भी व्यापक स्तर पर उल्लंघन है।
बयान में कहा गया, ‘तिब्बत में तिब्बतियों को मिली धार्मिक स्वतंत्रता का चीन का दावा अगर सही माना जाए तो चीन को अन्य लोगों के साथ ही 11वें पंचेन लामा के पते और उनकी सलामती की पुख्ता जानकारी मुहैया करानी होगी।’