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उत्तर प्रदेश में 19 अक्टूबर से खुलेंगे स्कूल लेकिन पूरी तरह बदल जाएगा स्कूलों में पढ़ाई का तरीका

कोरोना महामारी की वजह से पूरी दुनिया ही बदल गई है जिंदगी में रहन-सहन से लेकर पढ़ाई और नौकरी का तरीका भी बदल गया है हालांकि लॉकडाउन के बाद जारी अनलॉक प्रक्रिया के तहत करीब 8 माह बाद यूपी में स्कूल खुलने जा रहे हैं लेकिन सब कुछ पहले जैसा नहीं होगा 19 अक्टूबर से जब 9वीं से लेकर 12वीं तक के स्कूल खुलेंगे तो सब कुछ बदला-बदला सा रहेगा

अब जहां दो पालियो में स्कूलों को खोला जाएगा वही कम अटेंडेंस का असर भी छात्रों के रिजल्ट पर नहीं पड़ेगा इतना ही नहीं अब अभिभावक यह तय कर सकेंगे कि वह अपने बच्चों को स्कूल भेजकर पढ़ाएं या ऑनलाइन कहने का मतलब यह है की स्कूल खुलने के बाद अब छात्रों को स्कूल भेजने के लिए अभिभावकों की सहमति जरूरी होगी

साथ ही ऑनलाइन क्लासेज भी चलती रहेगी इतना ही नहीं पहले जहां छात्र एक साथ बैठकर पढ़ाई करते थे वह अब 6 फीट की दूरी पर बैठेंगे सभी छात्रों को एक साथ स्कूल नहीं बुलाया जाएगा पहले दिन 50 फ़ीसदी छात्र आएंगे बाकी के 50 फ़ीसदी दूसरे दिन छुट्टी के वक्त एक साथ बाहर नहीं निकाल सकेंगे

उन्हें एक-एक कर छोड़ा जाएगा पहले की तरह कुछ भी नहीं होगा उप मुख्यमंत्री डॉ दिनेश शर्मा ने कहा कि विद्यार्थियों को उनके माता-पिता और अभिभावकों की लिखित सहमति के बाद ही पठन-पाठन के लिए बुलाया जाए

क्योंकि बच्चों का भविष्य और स्वास्थ्य दोनों महत्वपूर्ण है उल्लेखनीय है कि 19 अक्टूबर से स्कूल खोले जाने के संदर्भ में अपर मुख्य सचिव आराधना शुक्ला द्वारा शासनादेश भी जारी कर दिया गया है

इस संबंध में स्कूल खोलने से पूर्व स्वास्थ्य स्वच्छता एवं अन्य सुरक्षा प्रोटोकॉल हेतु मानक संचालन प्रक्रिया जारी कर दिया गया है जो विभाग की वेबसाइट पर उपलब्ध है आराधना शुक्ला ने समस्त मंडलीय संयुक्त शिक्षा निदेशकों एवं जिला विद्यालय निरीक्षकों को यह निर्देश दिया है कि शासन आदेश का अनुपालन सुनिश्चित किया जाए तथा वह स्वयं भी विद्यालयों का नियमित निरीक्षण करें

उपमुख्यमंत्री ने बताया कि विद्यालय खोले जाने की अनुमति कुछ शर्तों के अधीन प्रदान की गई है उन्होंने कहा विद्यालय खोले जाने से पूर्व विद्यालय को पूरी तरह से संक्रमणरोधन किया जाए

यह प्रक्रिया प्रतिदिन प्रत्येक पाली के उपरांत नियमित रूप से भी सुनिश्चित की जाए शर्मा के अनुसार विद्यालय में सैनिटाइजर हैंडवाश थर्मल स्कैनिंग एवं प्राथमिक उपचार की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए

तथा यदि किसी विद्यार्थी शिक्षक या अन्य कार्मिक को खांसी जुकाम या बुखार के लक्षण हो तो उन्हें प्राथमिक उपचार देते हुए घर वापस भेज दिया जाए उन्होंने निर्देश दिया कि यदि विद्यार्थी स्कूल बसों अथवा विद्यालय से संबद्ध सार्वजनिक सेवा वाहन से विद्यालय आते हैं

तो वाहनों को प्रतिदिन सैनिटाइज कराया जाए उनके अनुसार सभी शिक्षकों विद्यार्थियों तथा विद्यालय के अन्य कर्मचारियों को मास्क पहनना अनिवार्य होगा

विद्यालय प्रबंधन द्वारा अतिरिक्त मात्रा में मास्क उपलब्ध रखे जाएं शर्मा ने हिदायत दी है कि यदि कोई विद्यार्थी ऑनलाइन अध्ययन करना चाहता है तो उसे स्कूल द्वारा सुविधा उपलब्ध होनी चाहिए

News Desk

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