Muzaffarnagar News: भारतीय योग संस्थान के तत्वावधान में पांच दिवसीय पेट रोग निवारण शिविर
मुजफ्फरनगर। (Muzaffarnagar News) योग रोग ठीक करने की विधा नहीं है अपितु जो योग करता है उसको रोग नहीं होते। उक्त विचार भारतीय योग संस्थान के तत्वावधान में जीआईसी इंटर कॉलेज के फील्ड में चल रहे पांच दिवसीय पेट रोग निवारण शिविर में जिला मंत्री श्री योगेश्वर दयाल ने पेट रोग को ठीक करने में आसन और प्राणायाम की भूमिका विषय पर बोलते हुए दिए। उन्होंने बताया कि योग भारतीय ऋषि मुनियों की देन है।
योग भारतीय संस्कृति की अमूल्य धरोहर है। जब व्यक्ति योगासन और प्राणायाम करता है तो उसके शरीर के सभी भीतरी अंग सक्रिय हो जाते हैं और सभी प्रणालियां अपना अपना कार्य सुचारु रुप से करने लगती है। जिससे व्यक्ति स्वस्थ और निरोगी बनता है। स्वस्थ व्यक्ति ही ईश्वर स्तुति, उपासना, प्रार्थना कर सकता है। मेहनत के द्वारा व्यक्ति अपने लक्ष्य को आसानी से पूर्ण कर लेता है।
सर्वप्रथम योगाचार्य सुरेंद्र पाल सिंह आर्य ने ओम ध्वनि और गायत्री मंत्र से योग साधना प्रारंभ कराई और उन्होंने पेट की बढ़ी हुई चर्बी को कम करने के लिए सूक्ष्म क्रियाएं कराई। उन्होंने बताया कि योगाभ्यास के साथ-साथ अपने आहार पर भी नियंत्रण करके हम अपने पेट की बढ़ी हुई चर्बी को कम कर सकते हैं।
भोजन करते समय कभी भी गुस्सा व तनाव नहीं होना चाहिए। जब भी भोजन करें प्रसन्नचित होकर करें। भोजन को चबा चबा कर खाएं। भोजन करते समय टीवी अथवा मोबाइल न देखें। ऐसा करने से हमारी पाचक ग्रंथियों से उचित मात्रा में पाचक रसों का स्त्राव नहीं होता। जिससे रस ठीक नहीं बनता और उसके बाद बनने वाले रक्त, मांस, मज्जा, अस्थि , मेद और शुक्र सभी धातुएं बिगड़ जाती है और शरीर में धातु दोष पैदा हो जाते हैं।
योग शिक्षिका ज्योति ने सूर्य नमस्कार आसन कराया। इसी प्रकार भारतीय योग संस्थान के प्रशिक्षित योग शिक्षकों यज्ञ दत्त आर्य, बबीता देवी ,जिला प्रधान राज सिंह पुंडीर, क्षेत्रीय प्रधान राजीव रघुवंशी, राज मोहन गुप्ता ,डॉक्टर अमित कुमार आदि ने आसन, प्राणायाम और ध्यान कराया। कल दिनांक १२ जून २०२२ को प्रातः ६रू३० बजे पांच दिवसीय पेट रोग निवारण शिविर का समापन किया जाएगा। इस अवसर पर मुख्य रूप से डॉ जीत सिंह तोमर, सुनील तायल, राजेंद्र राठी ,अरविंद मलिक ,विपिन शर्मा ,प्रीति ,पूजा शिखा जैन आदि का विशेष योगदान रहा।